सरकार रैयत से सौ साल का करेगी लीज
मढ़ौरा, सारण, बिहार ।
गृह विभाग से मिले निर्देश के आलोक में सारण के मढ़ौरा अनुमंडल में एक हजार क्षमता वाले जेल निर्माण के लिए जमीन चयन का कार्य पूरा कर लिया है । मिर्जापुर पंचायत के ताल पुरैना में स्थानीय प्रशासन ने भूमि का चयन किया है । करीब 30 एकड़ चिन्हित भूमि में बीस एकड़ रैयती और दस एकड़ सरकारी जमीन बताया जा रहा है । उक्त जमीन का पिछले 14 जुलाई को सारण उपसमाहर्ता डा. गगन कुमार ने एसडीओ विनोद कुमार तिवारी, डीसीएलार रविशंकर शर्मा सीओ रविशंकर पाण्डेय के साथ निरिक्षण कर उपयुक्त बताया था । जमीन के चयन के बाद बुधवार को सारण जेल अधीक्षक मनोज कुमार सिंहा भी मौके पर पहुंचे और सीओ के साथ जमीन का निरिक्षण किया ।
गृह विभाग ने सारण के मढ़ौरा अनुमंडल को किया था चयनित
राज्य सरकार के गृह विभाग ने आठ अनुमंडल मुख्यालय में नए कारा भवन बनाने का निर्णय लिया था । चयनित आठ में मढ़ौरा अनुमंडल का नाम भी शामिल किया गया है । इसको लेकर विभाग के अपर मुख्य सचिव चैतन्य प्रसाद ने स्थानीय प्रशासन को जमीन चिन्हित कर प्रस्ताव देने का निर्देश दिया था । विभागीय संकल्प संख्या 4101 दिनांक 18 मई 2021 की प्रति संलग्न करते हुए अपर मुख्य सचिव ने आठ अनुमंडल में एक हजार बंदी क्षमता का नये कारा भवन निर्माण के निर्णय की जानकारी दी थी । यह भी निर्देश था कि चिन्हित अनुमंडल में एक हजार क्षमता वाले ने कारा भवन के निर्माण हेतु कारा हस्तक 2012 के नियम 712 के आलोक में लगभग 20 एकड़ सरकारी भूमि चिन्हित कर तीन प्रस्ताव उपलब्ध कराया जाए । ताकि स्थल चयन समिति उपयुक्त भूमि का चयन कर सके ।
आठ नए जेल में मढ़ौरा का नाम भी था शामिल
राज्य के आठ अनुमंडल में नालंदा के राजगीर, नवादा के रजौली, सिवान के महाराजगंज, गोपालगंज के हथुआ, पूर्वी चंपारण के चकिया और पकड़ीदयाल, वैशाली के महनार, सहरसा के सिमरी बख्तियारपुर के साथ सारण के मढ़ौरा अनुमंडल का नाम शामिल किया गया था । अनुमंडल मुख्यालय में जेल के बनने से जिला जेल पर लोड घटेगा वही अनुमंडल के पुलिस प्रशासन को सुविधा प्राप्त हो जायेगी ।
परपिचूवल लीज पर प्रशासन लेगी जमीन
चिन्हित तीस एकड़ जमीन में मात्र दस एकड़ जमीन ही सरकारी बताया गया है । बाकी के बीस एकड़ जमीन रैयती है जिसे प्रशासन रैयतदार से सौ साल के लीज पर लेगी । हालांकी लीज पर ली गयी जमीन पर भी रैयती को चार गुणा मुवाबजा की राशि प्राप्त होगी । एक अनुमान के अनुसार चिन्हीत स्थान पर जमीन का 30-35 हजार कट्ठा का सरकारी दर है । ऐसे में सरकार द्वारा जमीन लिए जाने पर जमीन मालिकों को इसका चार गुणा राशि प्राप्त होगा ।
जमीन मालिकों से मिली सहमती - सीओ
मंडल उपकारा निर्माण को लेकर चिन्हीत स्थान के जमीन मालिकों से मौखिक सहमति मिल चूकी है । वर्तमान में वह जमीन प्राय पानी भरा रहने से खेती कार्य में भी उपयोग नही हो पा रहा है । इस तरह उक्त जमीन का उपयोग भी हो सकेगा और रैयत को उचित राशि भी प्राप्त होगी ।
- रविशंकर पाण्डेय सीओ मढ़ौरा ।
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